फिल्म इंडस्ट्री से बेहद दुखभरी खबर सामने आ रही है जिससे चारों तरफ मातम पसरा हुआ है। एक्टर और कराटे मास्टर और तीरंदाजी विशेषज्ञ शिहान हुसैनी का ब्लड कैंसर के चलते निधन हो गया है। चेन्नई के निजी अस्पताल में काफी समय से उनका इलाज चल रहा था लेकिन 25 मार्च उन्होंने हार मान ली और वहीं पर उन्होंने दम तोड़ दिया।
निधन की परिवार ने की पुष्टि
शिहान हुसैनी के निधन की जानकारी उनके परिवार ने फेसबुक पोस्ट के जरिए दी है। उनके जानें से परिवार और फैंस को गहरा सदमा लगा है। उनका पार्थिव शरीर चेन्नई के बेसेंट नगर स्थित उनके निवास हाई कमांड में रखा जाएगा, ताकि उनके छात्र, प्रशंसक और परिवार के लोग उन्हें श्रद्धांजलि दे सकें। इसके बाद उनका अंतिम संस्कार मदुरै में किया जाएगा।
इस खास अंदाज में छात्र देगें श्रद्धांजलि
उनके परिवार ने उनके छात्रों, प्रशिक्षकों और तीरंदाजों से अनुरोध किया कि वे तीर चलाकर और कराटे की ‘कटास’ प्रदर्शन करके उन्हें खास अंदाज में उन्हें श्रद्धांजलि दें। शिहान हुसैनी अपने कैंसर के सफर को सोशल मीडिया पर अपडेट करते रहते थे। उनकी स्थिति को देखते हुए तमिलनाडु सरकार ने उनके इलाज के लिए 5 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी थी। बता दें कि अपनी मृत्यु से कुछ दिन पहले ही उन्होंने अपने शरीर को मेडिकल रिसर्च के लिए दान करने की अनाउंमेंट कर दी थी। इस तरह से उनका समाज के प्रति योगदान दर्शाता है।
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शिहान हुसैनी वर्कफ्रंट
शिहान हुसैनी के वर्कफ्रंट की बात करें तो साल 1986 में कमल हासन की फिल्म ‘पुन्नगई मन्नान’ से अपने अभिनय करियर की शुरुआत की थी। इसके बाद वे रजनीकांत की ‘वेलाइकरन’, हॉलीवुड फिल्म ‘ब्लडस्टोन’ और तमिल सिनेमा की कई और भी फिल्मों में नजर आए थे। विजय की फिल्म ‘बद्री’ में उन्होंने कराटे कोच की भूमिका निभाई थी। उनकी अंतिम फिल्मों में विजय सेतुपति की ‘काथुवाकुला रेंदु काधल’ और ‘चेन्नई सिटी गैंगस्टर्स’ शामिल हैं। फिल्मों के अलावा उन्होंने कई रियलिटी शो में जज के तौर पर भी नजर आए हैं। वह सिर्फ एक्टर ही नहीं बल्कि मार्शल आर्ट, मूर्तिकला, युद्ध खेल और तीरंदाजी के भी विशेषज्ञ थे।
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