Zara Hatke Zara Bachke Review: मिडिल क्लास फैमिली की उलझी जिंदगी पर बेस्ड है “जरा हटके जरा बचके”
Zara Hatke Zara Bachke Review
नवीन सिंह भारद्वाज: कोरोना महामारी के बाद बॉलीवुड में वैसे तो कई बदलाव देखने को मिले हैं। लेकिन अगर सलीके से कहा जाए तो ऑडियंस के बीच दो चीजों ने अपनी पकड़ जोरों से बना रखी है।
जिसमें से पहला है ओटीटी प्लेटफार्म का का बड़े पैमाने पर कंज्यूमर्स का होना और दूसरा है निर्माताओं का दर्शकों के लिए जोर-शोर से फैमिली कॉमेडी मूवीज बनाना।
यह भी पढ़ें- Asur 2 Review: ओटीटी पर ‘असुर 2’ ने मचाया गदर, फिर हॉरर-थ्रिलर सीरीज ने जीता लोगों का दिल
दिनेश और लक्ष्मण की जोड़ी का नया धमाल है Zara Hatke Zara Bachke
फिल्म के निर्माताओं का फिल्म बनाना भी अब उनके ऑडियंस के टेस्ट पर निर्भर करने लगा है। अगर आपने लुक्का छुपी देखी है, तो इस फिल्म को मिस कर के आपको कोई अफसोस नहीं होगा। एक बार फिर लक्ष्मण उटेकर और दिनेश विजान की जोड़ी वापस आई है “जरा हटके जरा बचके” के साथ।
कहानी
कहानी इंदौर के छोटे से शहर आनंद नगर के दूबे परिवार की है। कपिल दूबे (Vicky Kaushal) अपनी पंजाबी बीवी सौम्या चावल दूबे (Sara Ali Khan) के साथ एक छोटे से घर में रहता है।
ट्यूशन पढ़ाती है सौम्या
पेशे से कपिल योगा टीचर है। वहीं, सौम्या कोचिंग सेंटर में ट्यूशन पढ़ाती है। कपिल के घर में मां-बाप के अलावा कपिल के मामा-मामी भी रहते है, जिन्हें सौम्या और कपिल ने लंबे समय से अपना रूम दे रखा है।
नए घर की तलाश में सौम्या और कपिल
इसी वजह से दोनों को लिविंग रूम में बाहर जमीन पर सोना पड़ता है। सौम्या की ख़्वाहिश होती है कि वो और कपिल कही अलग अपने नए घर में रहे। शादी की दूसरे सालगिरह के बाद सौम्या और कपिल नए घर की तलाश में लग जाते हैं, जहां वो घर की आसमान चूमती कीमत के वजह से निराश हो जाते हैं।
यह भी पढ़ें- The Night Manager 2: इन दिन ओटीटी पर दस्तक देगा ‘द नाइट मैनेजर 2’, सीरीज की रिलीजिंग डेट का ऐलान
सस्ते दाम में घर मिल सकता है घर
वहीं उनकी मुलाकात भगवान दास ईश्वर दास सहाय (Inaamulhaq) से होती है, जो उन्हें सलाह देता है कि जन आवास योजना की स्कीम के तहत उन्हें सस्ते दाम में घर मिल सकता है।
दुविधा ये है कि ये योजना में पहली प्रायोरिटी में अनुसूचित जाति के लोग और वर्किंग सिंगल लेडीज होगी। सौम्या को नए घर की इतनी चाह होती है कि दोनों मिल के तलाक लेने का तय करते हैं। कैसे कैसे कर के दोनों का तलाक हो जाता है और किसी वजह से कपिल के घर पर भी इस बात की जानकारी हो जाती है।
घरवालों के सामने किया लड़ने का नाटक
एक दूसरे के प्यार में पागल सौम्या और कपिल को घरवालों के सामने लड़ने का नाटक करना पड़ता है, जिससे घरवालों को लगे की दोनों सच में एक दूसरे के साथ नहीं रहना चाहते।
सौम्या घर छोड़ के अपने माता-पिता के साथ पास में ही दूसरी जगह रहने लग जाते है, जहां उसकी मुलाकात उस सोसाइटी के वॉचमैन- दरोगा (Sharib Hashmi) से होती है, जो उसी सोसाइटी के बिल्डिंग के छत पर छोटा सा टेंट बना के अपने परिवार के साथ रहता है।
डायरेक्शन और राइटिंग
फिल्म के फर्स्ट हाफ में कहानी का पेस आपका इंटरेस्ट बरकरार रखेगा। वहीं सेकंड हाफ में कहानी धीरे-धीरे स्लो होती नजर आएगी और आपको बोर भी करेगी।
फिल्म के सेकंड हाफ के पहले पंद्रह मिनट के बाद फिल्म स्लो होती नजर आने लगेगी। लेखन के मामले में दिनेश, मैत्रेय और रमीज इस फिल्म में थोड़े कमज़ोर पड़ गए। फिल्म में जहां दरोगा (Sharib Hashmi) की कहानी से ही आप इसके क्लाइमेक्स का अंदाजा लगा पाएंगे।
क्लाइमेक्स में अचानक से आएगा नया मोड़
वहीं फिल्म में कई-कई जगह जबरदस्ती कॉमेडी डालने की कोशिश भी की गई है। क्लाइमेक्स में अचानक से आए मोड़ को देख कर ऐसा लगेगा की अब फिल्म को जबरन नतीजे पर लाने की कोशिश की गई है।
यह भी पढ़ें- Sahila Chaddha: सुपरहिट फिल्मों के बाद भी इंडस्ट्री से गायब हो गई सलमान की ये को-एक्ट्रेस, अब कर रही हैं ये काम
एक्टिंग
कोविड पैंडेमिक के बाद ओटीटी स्पेस को दो बड़े प्रोजैक्ट्स के जरिए एक्स्प्लोर करके विक्की कौशल और सारा अली खान ने इस फिल्म के जरिये थिएट्रिकल रिलीज का रुख किया है। एक मिडल क्लास मैन के किरदार में विक्की पुरी तरह से ढल गए हैं।
वहीं सारा ने भी अपने किरदार को बखूबी से अंजाम दिया हैं। बात लोकल एक्सेंट की हो या हर जगह पैसे बचाने की छोटी-छोटी कोशिश जैसे एक कोल्ड ड्रिंक शेयर करना, बाइक में आधा पेट्रोल भरवाना या रेस्टोरेंट में एक रुपये का टिप भी सोच समझ के छोड़ना।
किरदारों में मंजे हुए नजर आए स्टार्स
वहीं सारा का पंजाबी हो कर पंडित परिवार में एडजस्ट करना, घर में फैमिली का ध्यान रखना और मिडल क्लास वाइफ की तरह पति के साथ जितना है उतने में खुश रहना इस बात की तरफ इशारा करता है कि सारा इस किरदार के लिए पहले से ही तैयार थी।
वहीं, अगर डॉयलॉग्स की बात की जाएं तो इस मामले में जब-जब विक्की और सारा आमने-सामने आए तब-तब सारा फीकी होती नजर आई हैं। वहीं बाकी के कलाकार जैसे सुष्मिता मुखर्जी, राकेश बेदी, इनामुलहक और नीरज सूद अपने किरदारों में मंजे हुए थे।
यह भी पढ़ें- 1920 Horrors Of The Heart: इस दिन सिनेमाघरों में छाएगा ‘डर का अंधेरा’, ‘1920 हॉरर ऑफ द हार्ट’ का ट्रेलर रिलीज
टेक्निकल्स
फिल्म के आने से पहले ही फिल्म के गाने वायरल होने लग गाए थे और इसी गानों के बदौलत रिलीज से पहले विकी और सारा ने इसका प्रोमोशन जोरों-शोरों से किया है।
इस फिल्म में म्यूजिक की कमांड सचिन-जिगर की जोड़ी ने थाम रखी हैं और लिरिक्स लिखा है अमिताभ भट्टाचार्य ने। गानों के साथ साथ बैकग्राउंड स्कोर के लिए संदीप शिरोडकर की भी तारीफ होनी चाहिए।
अंत में नया बदलाव करेगा हैरान
पूरे 132 मिनट यानी की 2 घंटे 20 मिनट की फिल्म की कहानी छोटी है। इंटरवल के बाद ये फिल्म बेहद ही स्लो और थोड़ा बोरिंग सा लगने लग जाएगी और अंत तक आते-आते कहानी में आए नये बदलाव से आप भी हैरान हो जाएंगें।
फिल्म को दो स्टार
एक लंबे समय के बाद विक्की कौशल और सारा अली खान की फिल्म थियेटर में रिलीज हुई है। अगर आपके पास बजट नहीं है तो आप थोड़ा और इंतजार कर सकते हैं, जिससे ये फिल्म ओटीटी पर आ जाए। इस फिल्म को दो स्टार हैं।
Get Breaking News First and Latest Updates from India and around the world
on News24. Follow News24 and Download our - News24
Android App. Follow News24 on Facebook, Telegram, Google
News.