Dabangg 2 actor Achyut Potdar passed away: आमिर खान अभिनीत फिल्म 3 इडियट्स में प्रोफेसर के किरदार से मशहूर हुए दिग्गज अभिनेता अच्युत पोतदार ने बीते दिन ठाणे के जुपिटर अस्पताल में अंतिम सांस ली। भारतीय आर्मी और इंडियन ऑयल कंपनी में काम कर चुके अच्युत पोतदार ने 80 के दशक में सिनेमा में एंट्री की थी। अच्युत पोतदार का निधन वास्तव में भारतीय फिल्म उद्योग के लिए एक बड़ी क्षति है। अच्युत पोतदार का अंतिम संस्कार आज ठाणे में होगा। 22 अगस्त को अच्युत पोतदार का जन्मदिन था। उससे पहले ही उनका निधन हो गया।
बेहोश होने पर अस्पताल लाया गया था
अच्युत पोतदार को अचानक बेहोश होने पर ठाणे के जुपिटर अस्पताल में भर्ती कराया गया था। तबीयत लगातार बिगड़ने के कारण उन्हें बचाया नहीं जा सका। पोतदार की बेटी अनुराधा पारस्कर ने बताया कि मंगलवार शाम 4 बजे उनके पार्थिव शरीर का अंतिम संस्कार किया जाएगा। अच्युत ने हिंदी और मराठी में कई फिल्मों और टीवी शो में काम किया था।
सिनेमा में आने से पहले अच्युत पोतदार सेना और इंडियन ऑयल कंपनी में 25 साल तक रहे। हालांकि उन्होंने अपने अभिनय करियर की शुरुआत देर से की, लेकिन उन्होंने पंडित सत्यदेव दुबे, विजया मेहता और सुलभा देशपांडे जैसे रंगमंच के दिग्गजों के साथ लंबे समय तक काम किया।
लगभग 125 फिल्मों में किया काम
अच्युत पोतदार ने मराठी और हिंदी में मिलाकर लगभग 125 फिल्मों में काम किया। विज्ञापन जगत में भी उनकी उतनी ही लोकप्रियता थी। 'तेज़ाब', 'परिंदा', 'अंगार', 'रंगीला', 'राजू बन गया जेंटलमैन' जैसी कई हिंदी फिल्मों में उनके चरित्र किरदारों ने दर्शकों का ध्यान खींचा था। राजकुमार हिरानी द्वारा निर्देशित फिल्म 'थ्री इडियट्स' में उनका डायलॉग 'कहना क्या चाहते हो…' भी काफी लोकप्रिय हुआ था। रंगमंच से लेकर हिंदी-मराठी फिल्मों तक, उन्होंने छोटे पर्दे पर भी अपने अभिनय से खूब नाम कमाया।
टीवी इंडस्ट्री में भी छाप छोड़ी
टीवी इंडस्ट्री में अच्युत पोतदार 'भारत एक खोज' और 'वागले की दुनिया' जैसे मशहूर सीरियल का हिस्सा रहे। 2022 में 'ज़ी मराठी' चैनल पर सीरियल 'माझा होशिल ना' में अप्पा के रूप में उनकी भूमिका भी काफी लोकप्रिय हुई। पिछले साल 22 अगस्त को उनका 90वां जन्मदिन धूमधाम से मनाया गया। उस समय फिल्म और रंगमंच क्षेत्र की कई गणमान्य हस्तियां मौजूद थीं। उस समारोह में उनकी बेटी अनुराधा पारस्कर द्वारा लिखित 'अच्युत पोतदार - सादगी, लचीलापन और संतोष का जीवन' नामक पुस्तक का भी विमोचन किया गया जो उनके जीवन के सफर को उजागर करती है।